સોમવાર, 13 મે, 2013

गजल है

तनहाई में साथ देती गजल है,
दर्द में मेरे साथ रोती गजल है,
भीडमे तनहाई बन जाती गजल है,
तनहाई में तेरी याद होती गजल है.

सुरज का हर संदेश लाती गजल है,
किरणे भी मुजको सुनाती गजल है,
चांद रातको जब सुनाता गजल है,
चांदनी मेरे संग गाती गजल है.

साँवले से मुख पर आती गजल है,
अंदाज मुजे अपना बताती गजल है,
रूप रंग से बन जाती गजल है,
हर बार रंग बदलती गजल है.

तुजे देखनेसे बन जाती गजल है,
दिलमे फिरसे धडकती गजल है,
देख कर तुजको मचलती गजल है,
जुदा होके आंखमे छलकती गजल है.

मुजको हर वक्त सताती गजल है,
पर दिलका वो प्यार बताती गजल है,
'आनंद' सुबह शाम होती गजल है,
मुजे तो अल्लाह राम लगती गजल है.